Wednesday, May 15, 2024

Papaya Variety : जानिए, पपीता के उन्नत किस्मों एवं इसकी विशेषताएं और पैदावार के बारे मे। Papita ke kisme in hindi

पपीता अत्यंत लोकप्रिये फल हैं तभी तो इसकी खेती बङे पैमाने पर की जाती हैं। पपीता फल को कच्चे एवं पके दोनों रूपों मे लोगों द्वारा काफी पसंद किया जाता हैं। हमारे देश भारत मे पपीते की खेती ज्यादातर फल उत्पादन एवं पपेन उत्पादन के लिए किया जाता हैं। पपीते मे बहुत सारे औषधीय गुण पाए जाते हैं इसमे प्रचुर मात्रा मे विटामिन ए पाया जाता हैं यह आम के बाद अधिक मात्रा मे विटामिन ए देने वाला दूसरे नंबर का फल हैं। कच्चे पपीता के फलों मे पपेन पाया जाता हैं जो पेट के रोगों मे लाभदायक हैं पपीता बहुत ही आसानी से पचने वाला फल हैं। पपीता का पेङ बहुत ही जल्दी बढ़ता हैं और यह एक वर्ष मे ही फल देने लगता हैं।

हमारे देश मे पपीता की खेती (Papaya Variety) व्यवसायिक तौर पर भी की जा रही हैं कई किसान ऐसे है जो पपीता की व्यवसायिक खेती करके अच्छे मुनाफे कमा रहे हैं। इसकी खेती से कम लागत मे अच्छा मुनाफा कमाया जा सकता हैं। हमारे देश के कृषि वैज्ञानिकों ने पपीता के कई ऐसे किस्में विकसित किए हैं जिनकी उपज क्षमता तो अच्छी हैं ही साथ यह किस्में कई रोगों एवं कीट-पतंगों का प्रतिरोधी भी हैं। पपीता की खेती करने के लिए ऐसी किस्मों को काफी अच्छा माना जाता हैं जो उपज मे अच्छी और वो रोग प्रतिरोधी भी हो।

पपीता की खेती करने से पहले पपीता की किस्मों (Papita ki kisme) के बारे मे जानकारी होना काफी महत्वपूर्ण माना जाता है. क्योंकि पपीता की कई ऐसी किस्में है जिनकी अलग-अलग पैदावार और विशेषता होती है। पपीता की उन्नत किस्मों का चुनाव क्षेत्रीय अनुकूलता और बीजाई के समय को ध्यान में रखकर किसानों को करना चाहिए, ताकि इनकी उत्पादन क्षमता का लाभ लिया जा सके। अगर किसान पपीता की सही किस्मों का चुनाव करें तो उन्हें अच्छी पैदावार (High Yield papaya ki veriety) के साथ अच्छा मुनाफ़ा हो सकता है। नीचे के सारणी मे पपीता की कुछ किस्मों के साथ उसकी पैदावार और विशेषता की जानकारी दी गई है तो आइये विस्तार से जानते है कि पपीता की खेती के लिए कौन-कौन से किस्मे है और इन किस्मों की क्या खासियत है।

Papaya
Papaya

पपीता के किस्म (Papita ki kism)

कूर्ग हनी ड्यू (Coorg Honey Dew) पूसा जायन्ट (Pusa Giant)
पूसा ड्वार्फ (Pusa Dwarf) पूसा मैजेस्टी (Pusa Majesty)
वाशिंगटन (Washington) पूसा डेलिसियस (Pusa Delicious)
सोलो (Solo) को. 1 (CO.1)
रांची (Ranchi) को. 2 (CO.2)
ताइवान 785 (Taiwan-785) को. 3 (CO.3)
ताइवान 786 (Taiwan-786) को. 4 (CO.4)
आई आई एच आर 39 (IIHR 39) को. 5 (CO.5)
आई आई एच आर 54 (IIHR 54) को. 6 (CO.6)
पंत पपीता 1 (Pant Papaya 1) को. 7 (CO.7)
पैराडिनिया (Paradynia) को. 11 (CO.11)
पूसा नन्हा (Pusa Nanha) पुणे सेलेक्सन 1 (Pune Selection 1)
अर्का प्रभात (Arka Prabhat) पुणे सेलेक्सन 3 (Pune Selection 3)
सनराइज सोलो (sunrise solo) बडवानी लाल (Badwani Lal)
सूर्या (Surya) बडवानी पीला (Badwani pila)
विनायक (Vinayak) माधुरी (Madhuri)
मधुबाला (Madhubala) रेड लेडी 786 (red lady 786)

papaya variety list (types of papaya)

पपीता की किस्मों की विशेषताएं और पैदावार (Characteristics and yields of Papaya varieties)

Papaya Variety
Papaya Variety

पपीता की किस्म (Papaya veriety)

पूसा डेलिसियस (Pusa Delicious)

सम्पूर्ण भारत मे इस पपीते की किस्म की खेती की जा सकती हैं इसकी प्रति पौधा उपज 40 से 45 किलोग्राम की हैं यह पपीते की गाइनोडाइसियसे किस्म हैं इस पपीते के किस्म मे नर और मादा के फूल एक ही पौधे पर आते हैं। इस किस्म के फल का वजन 1 से 2 किलोग्राम तक की होती हैं। (pusa delicious variety of papaya)

पूसा मैजेस्टी (Pusa Majesty)

सम्पूर्ण भारत मे इस पपीते की किस्म की खेती की जा सकती हैं इसकी प्रति पौधा उपज 35 से 40 किलोग्राम की हैं यह पपीते की गाइनोडाइसियसे किस्म (gynodioecious variety of papaya) हैं इस पपीते के किस्म मे नर और मादा के फूल एक ही पौधे पर आते हैं। इस किस्म के फल का वजन 1 से 1.5 किलोग्राम तक की होती हैं। यह पपेन उत्पादन के लिए उपयुक्त किस्म हैं इसकी भंडारण क्षमता भी अधिक होती हैं। 

पूसा जायन्ट  (Pusa Giant)

सम्पूर्ण भारत मे इस पपीते की किस्म की खेती की जा सकती हैं इसकी प्रति पौधा उपज 30 से 35 किलोग्राम की हैं। इस पपीते के किस्म मे नर और मादा के फूल अलग-अलग पौधे पर पाए जाते हैं। इस किस्म के फल का वजन 1.5 से 3 किलोग्राम तक की होती हैं। यह किस्म तेज हवाओ के प्रति सहनशीलता वाले क्षेत्रों मे अधिक उपयोगी हैं। 

पूसा ड्वार्फ (Pusa Dwarf)

यह छोटी बढ़वार वाली किस्म हैं। सम्पूर्ण भारत मे इस पपीते की किस्म की खेती की जा सकती हैं इसकी प्रति पौधा उपज 40 से 45 किलोग्राम की हैं। इस पपीते के किस्म मे नर और मादा के फूल अलग-अलग पौधे पर पाए जाते हैं। इस किस्म के फल का वजन 1 से 1.5 किलोग्राम तक की होती हैं।

रेड लेडी 786 (red lady 786)

इस पपीते की किस्म (Papaya Variety) की खेती पंजाब, हरियाणा, पश्चिम उत्तर प्रदेश, दिल्ली, झारखंड और राजस्थान मे खेती करने के लिए उपयुक्त हैं। इसकी प्रति पौधा उपज 80 से 100 किलोग्राम की हैं। इस पपीते के किस्म मे नर और मादा के फूल एक ही पौधे पर आते हैं। यह किस्म अन्य किस्मों की तुलना मे जल्दी तैयार हो जाती हैं। इसकी भंडारण क्षमता भी अधिक होती हैं।

Papaya Variety
Papaya Variety
अर्का प्रभात (Arka Prabhat)

इस किस्म का गुदा ठोस तथा रंग गहरा गुलाबी होता हैं इसके फल का औसत वजन 900 से 1200 ग्राम तक का होता हैं। इस किस्म की टिकाऊ गुणवत्ता अच्छी हैं यह उभयलिंगी प्रकृति की किस्म हैं। पौधों की कम लंबाई पर ही इस किस्म मे फलन आरंभ हो जाता हैं।

पूसा नन्हा (Pusa Nanha)

यह पपीता की बौनी किस्म हैं यह 20 से 30 सेंटीमीटर की ऊंचाई पर फलना आरंभ करता हैं इसकी प्रति पौधा उपज 25 किलोग्राम की हैं। इस किस्म के पपीता के गूदे का रंग पीला होता हैं। यह किस्म किचन गार्डनिंग एवं सघन बागवानी के लिए उपयुक्त हैं। यह पपीते की डायोसियस प्रजाति हैं।

सूर्या (Surya)

यह पपीता की किस्म सनराइज सोलो एवं पिंक फ्लेश स्वीट के संकरण द्वारा विकसित की गई हैं यह पपीता की गायनोडायोसियस किस्म हैं इसके फल माध्यम आकार के होते हैं। इसके फल का औसत वजन 600 से 800 ग्राम तक का होता हैं। इस किस्म के पपीता के गूदे का रंग गहरा लाल होता हैं। इसकी प्रति पौधा उपज 55 से 56 किलोग्राम की हैं। पपीता के सूर्या किस्म का भंडारण क्षमता अच्छा होता हैं।

को. 1 (CO.1)

यह पपीते की डायोसियस प्रजाति हैं जिसके पौधे छोटे होते हैं। इस किस्म का फल मध्यम आकार के गोल होते हैं। इस किस्म के पपीता के गूदे का रंग पीला होता हैं। इसकी प्रति पौधा उपज 40 किलोग्राम की हैं।

को. 2 (CO.2)

यह पपीते की डायोसियस प्रजाति हैं इस किस्म (papaya varieties) मे पपेन प्रचुर मात्रा मे पाया जाता हैं इस किस्म के फल का आकार बङा होता हैं। इस किस्म के पपीता के गूदे का रंग नारंगी होता हैं। इसकी प्रति पौधा उपज 80 से 90 फल प्रति वर्ष होती हैं। इसके फल का औसत वजन 1.5 से 2 किलोग्राम तक का होता हैं।

Papaya Variety
Papaya Variety

को. 3 (CO.3)

यह पपीते की गायनोडायोसियस प्रजाति हैं यह किस्म को. 2 एवं सनराइज सोलो के संकरण द्वारा विकसित किया गया हैं। इस किस्म के फल का आकार मध्यम होता हैं। इस किस्म के पपीता के गूदे का रंग लाल होता हैं। इसकी प्रति पौधा उपज 90 से 120 फल प्रति वर्ष होती हैं। इसके फल का औसत वजन 500 से 800 ग्राम तक का होता हैं। यह ताजे फल के रूप मे खाने हेतु सवोत्तम किस्म हैं।

को. 4 (CO.4)

यह पपीते की डायोसियस प्रजाति हैं इस किस्म के फल का आकार मध्यम होता हैं। इस किस्म के पपीता के गूदे का रंग पीला होता हैं। इसकी प्रति पौधा उपज 80 से 90 फल प्रति वर्ष होती हैं। इसके फल का औसत वजन 1.2 से 1.5 किलोग्राम तक का होता हैं। यह किस्म को. 1 एवं वाशिंगटन के संकरण द्वारा विकसित किया गया हैं। (Papaya Variety)

को. 6 (CO.6)

यह पपीते की डायोसियस प्रजाति हैं यह किस्म पपेन उत्पादन के लिए उपयोगी हैं। इस किस्म के पपीता के गूदे का रंग पीला होता हैं। इसकी प्रति पौधा उपज 80 से 100 फल प्रति वर्ष होती हैं। इसके फल का औसत वजन 2 किलोग्राम तक का होता हैं। इस किस्म के पौधे छोटे होते हैं इसकी फल की तोङाई पौधे रोपण के आठवें माह से शुरू हो जाती हैं।

रांची (Ranchi)

इस किस्म मे नर, मादा तथा उभयलिंगी तीनों प्रकार के पेङ मिलते हैं इसके फल काफी बङे होते हैं।

कूर्ग हनी ड्यू (Coorg Honey Dew)

यह पपीते की गाइनोडायोशियस पौधा हैं। इस किस्म के फल का आकार अंडाकार होता हैं और फलों पर हलकी धारियाँ पाई जाती हैं। यह किस्म दक्षिण भारत के जलवायु मे अच्छा फलन देता हैं। (papaya variety in india)

विनायक (Vinayak)

यह पपीते की किस्म मध्यम क्षेत्र के लिए उपयुक्त हैं इस किस्म के पौधे मे 8 से 10 महीने मे फलन आरंभ हो जाता हैं इसके फलों का वजन 1.5 से 2 किलोग्राम तक का होता हैं। इस किस्म के फलों का आकार गोल एवं बेलनाकार होता हैं।

Papaya Variety
Papaya Variety

ताइवान 785 (Taiwan-785)

ताइवान 785 पपीते की किस्म 60 से 75 सेंटीमीटर की ऊंचाई पर फलना आरंभ करता हैं। इसकी प्रति पौधा उपज 100 से 125 फल प्रति वर्ष होती हैं।

ताइवान 786 (Taiwan-786)

यह पपीते की गाइनोडियोशियस किस्म है इस किस्म (papaya varieties) के पौधे जमीन से 100 सेंटीमीटर की ऊंचाई पर फलना आरंभ करता हैं। इसके फल का वजन 1 से 3 किलोग्राम के बिच होता हैं।

सनराइज सोलो (sunrise solo)

यह अधिक उपज देने वाला पपीते की किस्म हैं इसके फल का गुदा लाल-नारंगी रंग का होता हैं इसका फल मध्यम आकार का होता हैं। इसके फल का वजन 425 से 620 ग्राम प्रति फल होता हैं। 

वाशिंगटन (Washington)

यह पपीते की किस्म (Papaya Variety) अच्छी बढ़वार वाला होता हैं यह महाराष्ट्र की प्रसिध्द किस्म हैं। यह पपेन उत्पादन के लिए प्रचलित किस्म हैं इसके फल अंडाकार, मीठे, स्वादिष्ट एवं सुगंधित होते हैं। इस किस्म के फल का औसत वजन 1 से 1.5 किलोग्राम का होता हैं इसके फल का गुदा पीले-लाल रंग का होता हैं। इस किस्म की भंडारण क्षमता अच्छी होती हैं।

नीचे दिये गए लिंक की मदद से पपीता के अलग-अलग किस्मों को ऑर्डर करके घर मगाया जा सकता हैं।

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तो मुझे आशा है कि आपको हमारा यह पोस्ट पसंद आया होगा, अगर आपको पसंद आया है तो इस पोस्ट को अपने दोस्तों के साथ जरूर शेयर करे। और उन तक भी पपीता की किस्मों (best papaya variety in india) के बारे मे जानकारी पहुँचाए।

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